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लापता विमान का रहस्य

१७ मार्च २०१४

लापता मलेशियाई विमान से आई आखिरी आवाज उड़ान के कप्तान की नहीं बल्कि साथी पायलट की थी. जांचकर्ताओं को कप्तान की आत्महत्या की आशंका. उधर कजाखस्तान ने कहा उनकी हवाई सीमा में कोई संदिग्ध विमान नहीं आया.

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तस्वीर: Reuters

पाकिस्तान, भारत ने भी कहा है कि उनकी हवाई सीमा में जहाज नहीं दिखा. जांचकर्ताओं को आशंका है कि विमान के कप्तान या फर्स्ट ऑफिसर ने आत्महत्या कर ली, जिसके कारण विमान लापता हो गया. क्योंकि प्लेन से आए आखिरी शब्द "ऑल राइट, गुड नाइट" साथी पायलट के थे. इसके बाद रेडियो सिस्टम एसीएआरसी बंद हो गया था.

आठ मार्च को लापता उड़ान एमएच370 का अभी तक कोई पता नहीं चल सका. जांचकर्ता इस आशंका को ठोस मान रहे हैं कि आखरी संपर्क के बाद भी विमान कई घंटों तक उड़ता रहा था. और इसे किसी ऐसे व्यक्ति ने रास्ते से भटकाया है जो बोइंग 777-200ईआर और व्यावसायिक नेविगेशन के बारे में गहरी जानकारी रखता है.

अब कैस्पियन सागर से दक्षिणी हिंद महासागर के बीच के बड़े इलाके में इस विमान की खोज की जा रही है. उधर एयरलाइंस के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अहमद जौहरी ने संवाददाता सम्मेलन में बताया कि प्लेन का ऑटोमैटिक ट्रैकिंग सिस्टम कब बंद हुआ इस बारे में साफ जानकारी नहीं है. साथ ही कजाखस्तान ने कह दिया है कि जिस समय मलेशिया एयरलाइंस का विमान गायब हुआ, उस दौरान उसकी हवाई सीमा में कोई संदिग्ध विमान दिखाई नहीं दिया था.

कजाख नागरिक उड्डयन कमेटी ने कहा, "भले ही बोर्ड के सभी उपकरण बंद हों, तो भी सायलेंट मोड में उड़ना असंभव है. देश की सेना भी सीमा के अंदर आने वाली उड़ानों पर नजर रखती हैं. अगर ऐसा सोच भी लिया जाए कि प्लेन इधर आया था तो भी उसे दूसरे देशों के ऊपर से उड़ना पड़ता, वहां भी फ्लाइट जोन पर नजर रखी जाती है."

पुलिस और कई देशों के जांचकर्ताओं को तब तक विमान में हुई घटना का पता नहीं चल सकता जब तक विमान या उसका ब्लैक बॉक्स नहीं मिल जाए. सैटेलाइट डाटा के मुताबिक लापता विमान लाओस से कास्पियन सागर या सुमात्रा से ऑस्ट्रेलिया के पश्चिमी हिस्से तक कहीं भी हो सकता है. ऑस्ट्रेलिया भी इस जांच में शामिल हुआ है और उसने मलेशियाई अधिकारियों को हर संभव मदद का वादा किया है.

एएम/आईबी (रॉयटर्स, डीपीए)